राजनीति
4 वर्षों मे पानी, बिजली, बस किराया, शिक्षा, स्वास्थ्य सेवाओं, राशन की कीमतों में भारी वृद्धि से बढ़ा जनता पर आर्थिक बोझ: चौहान
शिमला –भारत की कम्युनिस्ट पार्टी(मार्क्सवादी) की जिला कमेटी ने आज हिमाचल प्रदेश सरकार के चार वर्ष पूरे होने पर उसकी विफलताओं व जनविरोधी नीतियों के विरुद्ध शिमला में प्रदर्शन किया और उपायक्त कार्यलय से लेकर नाज़ तक जलूस निकाला गया।
जिला सचिव संजय चौहान ने सोमवार को जारी किये गए बयान में कहा कि भाजपा ने 2017 में चुनाव के दौरान जो जनता से वायदे किये थे सरकार में आने के बाद उन्हें अमल में लाने के लिए कोई भी कदम नहीं उठाए हैं।
चौहान ने कहा कि सरकार ने वायदा किया था कि महंगाई कम करेंगे और रोजगार के अवसर सृजित किये जायेंगे। किसानों को फसलों का उचित मूल्य दिलवाया जाएगा तथा मजदूरी में वृद्धि की जाएगी। कर्मचारियों से वायदा किया था कि पुरानी पेंशन योजना(OPS) बहाल की जाएगी तथा आउटसोर्स, ठेका, अंशकालीन व अन्य के लिए नीति बनाई जाएगी। भूमि अधिग्रहण कानून, 2013 को लागू कर 4 गुणा मुआवजा दिया जाएगा। चौहान ने कहा कि परन्तु आज तक कोई भी वायदा पूरा नहीं कर पाई है।
चौहान ने यह भी कहा कि जब से प्रदेश में भाजपा की सरकार सत्तासीन हुई है प्रदेश में व्यापक महंगाई, बेरोजगारी व कृषि का संकट निरन्तर बढ़ा है। एक ओर सरकार की इन नीतियों के कारण आज प्रदेश पर कर्ज बढ़कर 62000 करोड़ रुपए से अधिक हो गया है और दूसरी ओर सरकार द्वारा लागू की जा रही इन जनविरोधी नीतियों के चलते इन चार वर्षों मे पानी, बिजली, बस किराया, शिक्षा, स्वास्थ्य व अन्य सेवाओं के साथ ही साथ राशन की कीमतों में भारी वृद्धि की गई है जिससे जनता पर आर्थिक बोझ बड़ा है।
संजय चौहान ने कहा कि आज पेट्रोल, डीज़ल, रसोई गैस, खाद्य व अन्य आवश्यक वस्तुओं के दाम आसमान छू रहे हैं। खाद्य वस्तुओं की महंगाई की दर पिछले 40 वर्षों में सबसे अधिक है। आज रसोई गैस का घरेलू सिलिंडर 1002₹ और व्यवसायिक सिलिंडर 2250₹ में मिल रहा है। बाज़ार में सरसों का तेल 220₹, दाल 100₹, सब्जियां 40से 100₹ तक बिक रही है।
उन्होंने कहा कि सार्वजनिक वितरण प्रणाली में राशन में कटौती की जा रही है और इसको महंगा किया जा रहा है। इसके कारण आज आम आदमी का चूल्हा जलना भी मुश्किल हो गया है। उन्होंने कहा कि अब सरकार ने कपड़ा, जूता, खाने पर GST में वृद्धि कर जनता पर और अधिक महंगाई की मार डाल दी है। सरकार कोविड19 के कारण पैदा हुए संकट कॉल में कोई भी राहत जनता को नहीं दे रही है।
चौहान ने कहा कि इन चार वर्षों में सरकार द्वारा रोजगार के अवसर बिल्कुल भी सृजित नहीं किये गए हैं और कोविड 19 के कारण सरकार द्वारा लगाये गए लॉकडाउन से प्रदेश में लाखों लोगों के रोजगार पर संकट आया है। इसमें विशेष रूप से दैनिक ध्याड़ी मजदूरी करने वाले सबसे अधिक प्रभावित हुए हैं। पर्यटन, परिवहन, छोटा दुकानदार व अन्य कारोबार बुरी तरह से प्रभावित हुआ है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में बेरोजगारी की दर अप्रैल, 2017 में जो 0.5 प्रतिशत थी वह भाजपा सरकार में बढ़कर मई, 2020 में 28.2 प्रतिशत हो गई थी। आज भी प्रदेश में 8.5 लाख पढ़ा लिखा युवा रोजगार कार्यालय में पंजीकृत है और रोजगार के इंतजार में है।
उन्होंने कहा कि इन चार वर्षों में प्रदेश में कृषि व बागवानी का संकट बढ़ा है। किसानों को मण्डियों में उनके उत्पाद का उचित दाम नहीं मिल रहे हैं। मण्डियों में किसानों का शोषण बढ़ा है। किसान प्रदेश में सभी फसलों के लिएसरकार द्वारा कृषि व बागवानी विभाग के माध्यम से खाद, बीज, कीटनाशक, फफूंदीनाशक व अन्य लागत वस्तुओं पर दी जाने वाली सब्सिडी लगभग समाप्त कर दी है।
चौहान ने कहा कि चार वर्षों में खाद की कीमतों में 375 से 700 रुपए प्रति बैग तक वृद्धि की गई हैं। कीटनाशकों, फफूंदीनाशको व अन्य लागत वस्तुओं की कीमतों में 40 से 100 प्रतिशत तक वृद्धि हुई है। आज भी किसानों व बागवानो के करोड़ों रुपए का भुगतान सरकार ने कई वर्षों से करना है।
चौहान ने आरोप लगाया कि भाजपा के शासन काल में प्रदेश में महिलाओं, दलित व अन्य सामाजिक रूप से कमजोर वर्गों पर हमले बढ़े हैं। महिलाओं के विरुद्ध अपराधों व दलितों पर हमले में निरन्तर वृद्धि हुई है और सरकार इन पर अंकुश लगाने में पूरी तरह से विफल रही है। इन चार वर्षों में प्रदेश में नशे का कारोबार व्यापक रूप से फैल रहा है और सरकार इस पर रोक लगाने के लिए ठोस कदम नहीं उठा रही है। आज प्रदेश का युवा वर्ग बेरोजगारी के चलते नशे की चपेट में आ गया है।
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आगामी विधानसभा चुनावों को लेकर भाजपा ने कसी कमर,21 से 24 मार्च को हर संसदीय क्षेत्र में करेगी मंथन:जम्वाल
शिमला- पांच राज्यों के विधानसभ चुनावों में 4 राज्यों में भाजपा की सरकार बनने के बाद अब हिमाचल में भी भारतीय जनता पार्टी ने इस साल होने वाले विधानसभा चुनावों के लिए अभी से तैयारियां शुरू कर दी है।
हिमाचल में भी मिशन रिपीट को ध्यान में रखते हुए भाजपा ने चुनावी रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है जिसके तहत चारों संसदीय क्षेत्रों की बैठकें होने जा रही जा रही है।
इन बैठकों ओर तैयारियों की जानकारी देते हुए भाजपा प्रदेश महामंत्री त्रिलोक जम्वाल ने कहा कि इस चुनावी वर्ष 2022 के लिए भाजपा ने कमर कस ली है और भाजपा सगठन को मजबूत करने के लिए कार्य किया जा रहा है।
महामंत्री जम्वाल ने बताया कि पिछले लंबे समय से पार्टी वर्चुअल माध्यम से चल रही थी। उन्होंने बताया कि 21,22,23 और 24 मार्च को सभी संसदीय क्षेत्रों में बैठको का आयोजन होना तय हुआ है और यह बैठक पूरे दिन की होगी ।
संसदीय क्षेत्र,बैठकों की तिथि,समय व स्थान
हमीरपुर संसदीय क्षेत्र की बैठक 21 मार्च को सुबह 11 बजे मिलन पैलेस घुमारवीं में होने जा रही है। इसी प्रकार कांगड़ा संसदीय क्षेत्र की बैठक 22 मार्च ,को सुबह 11 बजे वूल फैडरेशन भवन,पालमपुर में होगी, मंडी संसदीय क्षेत्र की बैठक 23, मार्च को सुबह 11 बजे देव सदन, मंडी और शिमला संसदीय क्षेत्र की बैठक 24, मार्च 2022 को सुबह 11 बजे होटल कारा , नालागढ़ में होनी सुनिश्चित है।
प्रदेश महामंत्री ने बताया कि इस बैठक में कई महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की जाएगी। बैठक में संबंधित संसदीय क्षेत्र के 2017 चुनाव के सभी प्रत्याशी , संबंधित संसदीय क्षेत्र के जिलाध्यक्ष एवं जिला प्रभारी एवं सह प्रभारी और संबंधित संसदीय क्षेत्र के मॉडल7 अध्यक्ष एवं महामंत्री उपस्थित रहेंगे।
उन्होंने कहा कि इन बैठकों में राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं क्षेत्रीय प्रभारी सौदान सिंह , प्रदेश प्रभारी अविनाश राय खन्ना , सह प्रभारी संजय टंडन, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद सुरेश कश्यप, संगठन महामंत्री पवन राणा विशेषरूप से उपस्थित रहेंगे।
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4 राज्यों में बीजेपी की जीत से हिमाचल में भी बढ़ी भाजपा की उम्मीद,मुख्यमंत्री बोले हिमाचल में भी जीत तय
शिमला- पांच राज्यों के विधानसभा चुनावों में 4 राज्यों में भाजपा ने अपनी जीत का परचम लहराया है। इस जीत का जश्न शिमल भाजपा कार्यालय दीपकमल चक्कर में कार्यकर्ताओं ने जोर शोर से मनाया।
इस अवसर पर भाजपा कार्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि पांच राज्य के चुनावों में भाजपा का चार राज्यों में दबदबा रहा, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में भाजपा ने अच्छी जीत दर्ज की है।
उन्होंने कहा की इस जीत से यह साफ हो गया है कि सरकार के बाद सरकार बनती है और हिमाचल में भी एक बार फिर भाजपा की सरकार बननी तय है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सुरेश कश्यप ने कहा कि सभी राज्यों में कांग्रेस का सूपड़ा साफ हो गया है,इस बार चुनावों में कांग्रेस को खाता खोलना भी मुश्किल हो गया। उन्होंने कहा की इस बार कांग्रेस पार्टी को जबरदस्त हार का सामना करना पड़ा है।
उन्होंने यह भी कहा कि भाजपा को जिस प्रकार से सभी राज्यों में वोट प्रतिशत और जन मत प्राप्त हुआ है इससे पता चलता है की जनता को मोदी सरकार में पूरा विश्वास है।
भाजपा अध्यक्ष सुरेश कश्यप ने कहा कि उनकी पार्टी हिमाचल में भी एक बार फिर सरकार बनाने जा रही है आज देश की जनता का आशीर्वाद भाजपा के साथ है।
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विक्रमादित्य सिंह को याद रहे कि वह खुद दूसरे की खलडी में रहे है:भाजयुमों
शिमला- शिमला ग्रामीण के कांग्रेस विधायक विक्रमादित्य सिंह ने वन मंत्री राकेश पठानिया को अपनी खलड़ी में रहने की नसीहत देने को भाजपा ने निंदनीय बताया है।
भाजयुमों शिमला ज़िला के अध्यक्ष पारुल शर्मा ने कहा कि सामंती विचारधारा से ग्रसित शिमला ग्रामीण के विधायक विक्रमादित्य सिंह पिछले कुछ दिनों से सरकार के वरिष्ठ मंत्रियों के बारे में जो अनुचित और अभद्र ब्यानबाजी कर रहे है वह अत्यंत निंदनीय है।
उन्होंने कहा कि विधायक विक्रमादित्य सिंह को कुछ भी बोलने से पहले सोच लेना चाहिए कि वह क्या बोल रहे हैं और किसके खिलाफ बोल रहे हैं।
पारुल शर्मा ने कहा कि विक्रमादित्य ने पहले शिमला शहरी के विधायक और हरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज के बारे में अशोभनीय टिप्पणी की थी और अब पिछले कल सदन में वरिष्ठ मंत्री राकेश पठानिया के विषय में भी उन्होंने जो अभद्र टिप्पणियां की है, यह उनके मानसिक दिवालियापन को दर्शाता है। यह बहुत ही अशोभनीय है और उनकी उम्र और तजुर्बे के हिसाब से भी शोभा नहीं देता है।
जिलाध्यक्ष ने कहा कि शिमला ग्रामीण के विधायक अपने आप को एक तिहाई हिमाचल का प्रतिनिधित्व करने वाला बता रहे है। इससे लगता है कि विक्रमादित्य वास्तविकता से कोसों दूर है।
उन्होंने कहा कि शिमला ग्रामीण की जनता भली -भांति जानती है कि विक्रमादित्य रामपुर से आते हैं और शिमला ग्रामीण उनके परिवार की कोई जागीर नहीं है। यहां की जनता 2022 के चुनावों मे उनका वास्तविकता से परिचय करवा देगी।
भाजपा ने कहा कि विक्रमादित्य को याद रखना चाहिए कि जब वह शिमला ग्रामीण में आए थे तो उनके पास उनके पिताजी के नाम का एक मात्र सहारा था,जिसमें शिमला ग्रामीण की जनता गुमराह हो गई थी, अन्यथा उनकी अपनी कोई उपलब्धि नहीं थी।
जिलाध्यक्ष ने उन्हें नसीहत देते हुए कहा है कि वह सार्वजनिक रूप से मंत्री से अपने दिए गए वक्तव्य के लिए माफी मांगे और भविष्य में अपने कद के हिसाब से ब्यानबाजी करें।
आपको बता दें कि वन मंत्री राकेश पठानिया ने सदन के अंदर स्वर्गीय वीरभद्र सिंह को लेकर ईडी और सीबीआई रेड को टिप्पणी की थी,जिसके जवाब में विधायक विक्रमादित्य सिंह ने वन मंत्री को अपनी खलड़ी में रहने की नसीहत दे डाली।
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